रामगोपाल कुशवाहा ब्यूरो
पीलीभीत। सोमवार को भारतीय किसान यूनियन (भानु) ने किसानों की आवाज बुलंद करते हुए जोरदार प्रदर्शन किया। किसान भवन, मंडी परिसर से सैकड़ों ट्रैक्टर-ट्रॉलियों और वाहनों का काफिला लेकर संगठन के कार्यकर्ता जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे। जिलाध्यक्ष भजन लाल क्रोधी की अगुवाई में किसानों ने अपनी समस्याएं डीएम के समक्ष रखीं और 13 सूत्रीय ज्ञापन सौंपा।
किसानों ने बताया कि बाढ़ से सबसे बड़ा नुकसान खेती-किसानी को हुआ है, लेकिन पीड़ितों को न तो मुआवजा मिल रहा है और न ही राहत सामग्री पारदर्शिता से बांटी जा रही। गन्ना मिलों पर करोड़ों रुपये का बकाया, भूमाफियाओं का कब्जा, प्राइवेट स्कूलों की मनमानी फीस, तहसीलों व रजिस्ट्री कार्यालयों में अवैध उगाही, खाद की किल्लत, आवारा पशुओं का आतंक और गौशालाओं में भ्रष्टाचार जैसे मुद्दों को लेकर किसानों ने प्रशासन पर सवाल खड़े किए।
किसानों का कहना था कि जब तक गन्ना किसानों का भुगतान ब्याज सहित नहीं होता और भ्रष्टाचार पर लगाम नहीं लगती, तब तक किसान चैन से बैठने वाले नहीं हैं। संगठन ने चेतावनी दी कि किसानों के धैर्य की परीक्षा न ली जाए, वरना मंडी से लेकर मिल गेट और तहसीलों तक आंदोलन होगा। जिलाधिकारी ने किसानों की समस्याएं गंभीरता से सुनीं और मौके पर ही संबंधित अधिकारियों को निस्तारण के निर्देश दिए। डीएम ने भरोसा दिलाया कि सभी मुद्दों पर प्राथमिकता से कार्रवाई की जाएगी।
प्रदर्शन में शामिल किसानों ने नारेबाजी कर सरकार और अफसरशाही को घेरा। उन्होंने कहा कि यदि समस्याओं पर तत्काल अमल नहीं हुआ तो अगली बार और बड़ा आंदोलन होगा। मौके पर बड़ी संख्या में किसान मौजूद रहे, जिन्होंने ऐलान किया कि भाकियू (भानु) किसानों के हक की लड़ाई हर हाल में जारी रखेगा।






